हल्द्वानी के 2019 के एक मामले में सुनवाई करते हुए विशेष न्यायाधीश पॉक्सो नंदन सिंह की अदालत ने गुरुवार को अपनी बेटी के साथ अश्लील हरकत वाले फौजी पिता को सात साल की कठोर सजा और दस हजार रुपये का जुर्माना लगाया है। जुर्माने की राशि नहीं चुकाने पर 6 माह का अतिरिक्त कारावास भुगतना होगा।
मामले के अनुसार 7 अक्टूबर 2019 को टीपी नगर चौकी क्षेत्र में रहने वाले फौजी की पत्नी ने हल्द्वानी कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया था कि फौज से सेवानिवृत होने के बाद डीएससी (डिफेंस सर्विस कोर) में तैनात उसका पति (40) तीन सालों से जब भी छुट्टी आता तो वह बेटी के साथ छेड़छाड़ और अश्लील हरकत करता है।
आरोप था कि 5 अक्तूबर 2019 की रात फौजी रात को सोयी बेटी के साथ आपत्तिजनक हरकतें करने लगा। महिला ने विरोध किया तो उसके साथ भी मारपीट की। इसके बाद पुलिस ने फौजी के खिलाफ पॉक्सो समेत अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज किया। यह मामला तब से कोर्ट में चल रहा था। गुरुवार को उन्होंने 5 गवाह पेश किए, इसके बाद विशेष न्यायाधीश पॉक्सो नंदन सिंह की अदालत ने सजा सुनाई।
वहीं ऋषिकेश के ऐसे ही एक मामले में कोर्ट ने बेटी द्वारा पिता पर लगाए गए आरोप में पिता को बरी कर दिया है। 2020 से चल रहेेेेेेेेेेेेेेेेेेे इस मामले में कोर्ट ने माना कि बेटी ने दोस्त को बचाने के लिए अपने पिता पर ही दुष्कर्म का आरोप मढ़ दिया। कोर्ट ने माना कि पीड़िता ने अपने पिता से नफरत के चलते यह आरोप लगाया था। विशेष जज पॉक्सो मीना देऊपा की कोर्ट ने पिता को संदेह का लाभ देते हुए ससम्मान रिहा कर दिया।
बचाव पक्ष के अधिवक्ता आशुतोष गुलाटी के अनुसार ऋषिकेश कोतवाली में जुलाई 2020 को मुकदमा दर्ज हुआ था। शुरुआत में पीड़िता के पिता ने दो युवकों के खिलाफ दुष्कर्म का मुकदमा दर्ज कराया था। उन्होंने बताया था कि इन युवकों ने नशीला पदार्थ खिलाकर उनकी बेटी के साथ दुष्कर्म किया। इसके बाद पुलिस ने पीड़िता का मेडिकल और फिर मजिस्ट्रेटी बयान दर्ज कराए। इस दौरान वह अपने मौखिक बयानों से पलट गई। उसने आरोपियों में से एक युवक को अपना दोस्त बताया। पीड़िता ने बताया था कि वह उससे शादी करना चाहती है। साथ ही पीड़िता ने अपने पिता पर आरोप लगाया कि वह उससे कई महीनों से दुष्कर्म करता आ रहा है। इसके बाद अब वह इन युवकों को फंसाने की बात कर रहा था। इन बयानों के बाद पुलिस ने पीड़िता के पिता को ही दुष्कर्म का आरोपी मानते हुए न्यायालय में चार्जशीट दाखिल की।
बचाव पक्ष के मुताबिक हाल में पीड़िता अपने पति के साथ रह रही है, जिस युवक के खिलाफ पीड़िता के पिता ने मुकदमा दर्ज कराया था, उससे वह शादी कर चुकी है। यह शादी भी उसने कोर्ट के ट्रायल के दौरान ही की।