उत्तराखण्ड़ के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत सोशल मीडिया पर काफी एक्टिव रहते हैं, और समय-समय पर वह सोशल मीडिया के माध्यम से अपनी बात जनता तक पहुंचाते रहे हैं। सोशल मीडिया के माध्यम से ही वह अपने राजनीतिक विरोधियों पर हमला भी बोलते रहे हैं। बीते दिनों उन्होंने ट्विटर पर ट्वीट कर प्रदेश के राजनीतिक गलियारों में हलचल पैदा कर दी। अपने ट्वीट में उन्होंने कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में गए नेताओं का जिक्र किया और यदि कोई माफी मांगकर कांग्रेस में आना चाहता तो उसका स्वागत करने की बात कही। उनके इस बयान पर कांग्रेस छोडकर बीजेपी में शामिल हुए नेताओं के बयान भी सामने आए। पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने भी उन पर हमला बोला।
#घोंसला बदलने वाली कुछ चिड़ियां बहुत चह-चहा रही हैं, शायद उनके आंगन में कुछ दाने हैं। मगर अधिकतर घोंसला बदल चिड़ियां चुप हैं, शायद उनको आंगन सूखा दिखाई दे रहा है, यूं #बहेलिया_घाघ हो चुका है, उसकी निगाहें सतर्क हैं।
— Harish Rawat (@harishrawatcmuk) July 27, 2020
वहीं अब प्रदेश के कृषि मंत्री सुबोध उनियाल ने हरीश रावत पर हमला बोला है। सुबोध उनियाल ने कहा कि हरीश रावत बीजेपी में शामिल हुए लोगों से माफी मांगने की बात कर रहे हैं, जबकि हरीश रावत को पूरे प्रदेश से मांफी मांगनी चाहिए उन्होंने इस प्रदेश को लूटने का काम किया। हमने जिन आरोपों के साथ कांग्रेस छोड़ी थी उन आरोपों पर 2017 के विधानसभा चुनाव में जनता ने मुहर लगा दी और हरीश रावत के प्रतिनिधित्व को नकार दिया। उन्होंने कहा कि मौजूदा हालातों को देखकर ऐसा लगता है, कि कांग्रेस का जहाज डूबने की कगार पर खड़ा है और हरीश रावत कांग्रेस छोड़ चुके नेताओं को वापस कांग्रेस में बुलाने की पैरवी कर रहे हैं। जबकि हरीश रावत को राजनीति छोड़ कर वानप्रस्थ आश्रम या संयास ले लेना चाहिए तभी कांग्रेस का भी भला होगा और कांग्रेस की गुटबाजी भी खत्म होगी।
हरीश रावत को इससे पहले भी कई बीजेपी नेता राजनीति छोड़ सन्यास लेने व वानप्रस्थ जाने की सलाह दे चुके हैं। हरीश रावत उन नेताओं के हमलों का जवाब भी सोशल मीडिया के जरिए दिया था। उन्होंने अपने एक ट्वीट में कहा था कि आजकल भाजपा के दोस्तों की रूचि वानप्रस्थ में ज्यादा ही बढ़ गई है। नया पुराना हर भाजपाई मुुझको देखकर वानप्रस्थ का मुद्दा उछाल रहा है। दोस्तो मैं आपको निराश नहीं करूंगा बस मुझे इतना करना है कि 2022 में आपको देहरादून से वानप्रस्थ भेजने के बाद सुझाव पर विचार करूं या 2024 में दिल्ली से भाजपा को वानप्रस्थ भेजने के बाद। इसलिए आप खुश हो जाइए एक दिन वानप्रस्थ अवश्य लूंगा।
आजकल #भाजपा के दोस्तों की रूचि वानप्रस्थ शब्द में कुछ ज्यादा ही बढ़ गई है। नया-पुराना हर भाजपाई मुझको देखकर वानप्रस्थ का जुमला उछाल रहा है। दोस्तों मैं आपको निराश नहीं करूंगा, बस मुझे इतना करना है कि, 2022 में देहरादून से आपको वानप्रस्थ में..https://t.co/EtfG84TLZJ@INCIndia pic.twitter.com/k1Ag30r7Dr
— Harish Rawat (@harishrawatcmuk) July 26, 2020