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उत्तराखंड : वोटर आईडी कार्ड की गलतियां सुधारने का काम शुरू

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देहरादून : उत्तराखंड के मतदाता अब अपने वोटर कार्ड में किसी भी गलती को सुधार सकते हैं। इसके लिए मतदाता सत्यापन अभियान शुरू कर दिया गया है। इसके तहत 15 अक्टूबर तक मतदाता अपने वोटर कार्ड में दर्ज अपने विवरण और परिवार के विवरण की जांच कर इसे प्रमाणित कर सकते हैं। इसके लिए मतदाता ऑनलाइन आवेदन करने के साथ ही बूथ लेवल अफसर से व्यक्तिगत संपर्क कर बदलाव कर सकते हैं।

15 अक्टूबर के बाद एक जनवरी 2020 को 18 वर्ष पूरे करने वाले युवाओं को मतदाता सूची में जोड़ा जाएगा। सचिवालय में राज्य की मुख्य निर्वाचन अधिकारी सौजन्या ने मतदाता सत्यापन कार्यक्रम की शुरुआत की। उन्होंने कहा कि निर्वाचन आयोग द्वारा यह कार्यक्रम एक ही दिन और एक ही समय पूरे देश में शुरू किया गया है।

पहले चरण में वोटर लिस्ट में नामों को दुरुस्त किया जाएगा। अभियान का मकसद मतदाता सूचियों को 100 प्रतिशत सत्यापित और त्रुटि रहित बनाना है। मतदाता सूची के हिसाब से बूथों की संख्या भी बढ़ाई जाएगी। 15 अक्टूबर के बाद एक मदर वोटर रोल तैयार कर उसका प्रकाशन किया जाएगा।

इसमें आपत्तियां और दावे आमंत्रित किए जाएंगे। इसी दौरान नए मतदाता भी आवेदन कर सकते हैं। 15 दिसंबर तक आपत्तियां और दावे लिए जाएंगे उसके बाद एक जनवरी को नई सूची का प्रकाशन किया जाएगा।

इस तरह सुधारी जाएंगी गलतियां 

मतदाता को वोटर कार्ड में गलती सुधारने के लिए पासपोर्ट, ड्राइविंग लाइसेंस, आधार कार्ड, शासकीय व अशासकीय कार्मिकों का पहचान पत्र, बैंक पासबुक, किसान पहचान पत्र, पैन कार्ड, पानी, टेलीफोन अथवा बिजली का बिल आदि में से कोई एक पहचान दस्तावेज जमा करना होगा।

यह दस्तावेज वोटर हेल्पलाइन मोबाइल एप, एनवीएसपी पोर्टल, कॉमन सर्विस सेंटर, वोटर फेसिलिटेंशन सेंटर और 1950 हेल्पलाइन के जरिये अपलोड किए जा सकते हैं। ये सीधे बीएलओ तक पहुंच जाएंगे। बिना मतदाता की अनुमति के कोई बदलाव नहीं किया जाएगा।

भविष्य में सेवाएं प्राप्त करने के लिए अपना मोबाइल नंबर व ई-मेल आइडी भी इसमें शामिल कर सकते हैं। अपने बीएलओ को पहचानें निर्वाचन आयोग अपने बीएलओ को पहचानें सुविधा भी शुरू करने जा रहा है। मोबाइल एप के जरिये इसका पता चल सकेगा। यह सेवा अभी अल्मोड़ा, नैनीताल और ऊधमसिंह नगर में शुरू की जा रही है। अभी प्रदेश में 11000 बीएलओ हैं। इनमें से तकरीबन 6000 हजार के पास स्मार्ट फोन नहीं हैं।

अभी ऐसे बीएलओ चिह्नित किए जा रहे हैं जिनके पास स्मार्टफोन हैं और वे इस योजना में काम करने के इच्छुक है। जिस बीएलओ के पास मोबाइल एप होगा वह उसकी बाउंड्री तय कर लेगा। इसके बाद यदि कोई मतदाता अपने बीएलओ की जानकारी चाहता है तो वह उसे ऑनलाइन ही मिल जाएगी।

मतदाता सूची में 40 हजार नाम एक जैसे प्रदेश की मतदाता सूची में पहले छह लाख गलतियां थी। अब इनमें 40 हजार गलतियां ही बची हैं। मुख्य निर्वाचन अधिकारी के मुताबिक 40 हजार नाम ऐसे हैं जो एक जैसे ही हैं, केवल पता अलग-अलग है। इनका परीक्षण किया जा रहा है और जल्द ही इन्हें ठीक कर लिया जाएगा। प्रदेश में अभी 7755542 मतदाता पंजीकृत हैं।